Abstract
मौलाना आजाद (1888-1958) राश्ट्रीय विरासत है। इतिहास में उन्हे पत्रकार, स्वतंत्रता सेनानी, ब्रिटिष साम्राज्यवाद के खिलाफ योद्धा, सांप्रदायिक सद्भाव के मुख्य निर्माता और एक ऐसे कांग्रेस प्रमुख के रूप में जाना जाता है जो 1947 में देष के विभाजन के खिलाफ चट्टान की तरह खड़े हो गए थे। इस अध्याय में स्वतंत्रता संग्राम में मौलाना आजाद की भूमिका, अल्पसंख्यकों की समस्याओं को समझने में उनके योगदान और अंत में धर्म-निरपेक्ष भारत के उनके विचार के बारे में चर्चा की गई है।